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2024 में भारत बनेगा 4 ट्रिलियन इकोनामी वाला देश : पीएचडी चैंबर

कुलवंत कौर, संवाददाता 

नई दिल्ली। पीएचडी चैंबर सीसीआई के द्वारा एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया गया कि आने वाले समय में भारत की अर्थव्यवस्था किस दिशा में जाने वाली है और देशों की तुलना में भारत की इकोनॉमी में काफी तेजी से बदलाव आने वाला है और इस साल यानी 2024 में भारतीय अर्थव्यवस्था चार ट्रिलियन पर पहुंचने वाली है पीएचडी रिसर्च ब्यूरो, पीएचडी चैंबर ऑफ़ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री, पीएचडीसीसीआई इकोनामी आउटलुक 2024 पर एक रिपोर्ट में किए गए विश्लेषण से पता चला है कि भारत 2024 और 25 में शीर्ष 10 अग्रणी अर्थव्यवस्था में सबसे लचीली अर्थव्यवस्था होने वाली है।

डॉ रंजीत मेहता एग्जीक्यूटिव डायरेक्टर पी एच डी सी सी आई ने बताया की भारतीय अर्थव्यवस्था 2024 में 4 ट्रिलियन अमेरिकी डॉलर से अधिक का विस्तार करेगी और उसके बाद 2025 में अगली कक्षा में पहुंच जाएगी। उद्योग निकाय पी एच डी डीसी सी आई का कहना है कि मुद्रास्फीति प्रक्षेपवक्र लगभग 4.5% स्थिर होने की उम्मीद है, 2024 के अंत तक रेपो दर लगभग 5.5% कम होने की उम्मीद है। यह विश्लेषण जीडीपी वृद्धि, निर्यात वृद्धि, सकल राष्ट्रीय बचत, कुल निवेश और जीडीपी अनुपात के ऋण सहित प्रमुख व्यापक आर्थिक संकेतकों पर आधारित है।

भारत "विकसित भारत" की गतिशील पहल के साथ 2047 तक "विकसित अर्थव्यवस्था" का दर्जा प्राप्त करने के लिए तैयार है। पी एच डी सी सी आई ,प्रेसिडेंट संजीव अग्रवाल ने कहा कि पिछले दो वर्षों में लगातार सकल घरेलू उत्पाद की वृद्धि दर 7% से अधिक होने और चालू वर्ष में भी इस प्रवृत्ति के जारी रहने का अनुमान है, अर्थव्यवस्था 2024 में 4 ट्रिलियन अमेरिकी डॉलर को पार कर जाएगी और उसके बाद 2025 में अगली कक्षा में पहुंच जाएगी वही, वैश्विक विपरीत परिस्थितियों के बावजूद, भारत की अर्थव्यवस्था लचीली बनी हुई है। भू-राजनीतिक संघर्ष विश्व को नया आकार दे रहे हैं, वैश्विक मूल्य श्रृंखलाओं को बाधित कर रहे हैं और मुद्रास्फीति का दबाव पैदा कर रहे हैं। हालाँकि, भारत का भू-राजनीतिक महत्व काफी बढ़ रहा है और अंतरराष्ट्रीय संस्थानों से प्रशंसा अर्जित कर रहा है ।

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