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प्राइवेट सिक्योरिटी इंडस्ट्री में हो एफडीआई की सीमा 74% : कापसी

बंसी लाल, वरिष्ठ पत्रकार 

नई दिल्ली। द सेंट्रल एसोसिएशन ऑफ प्राइवेट सिक्योरिटी इंडस्ट्री (कापसी)  ने रविवार को मांग की कि इस क्षेत्र में फॉरेन डायरेक्ट इन्वेस्टमेंट ( एफडीआई ) की सीमा को 49% से बढ़ाकर 74% किया जाए. प्राइवेट सिक्योरिटी डे के अवसर पर यह मांग उठाते कापसी   के चेयरमैन कुंवर विक्रम सिंह ने कहा कि प्राइवेट सिक्योरिटी दिवस पूरे देश में मनाया जा रहा है. इस अवसर पर हम सरकार से यह मांग करते हैं कि इस क्षेत्र में  एफडीआई की सीमा को 49% से बढ़ाकर 74% किया जाए. जिससे इस क्षेत्र को आधुनिक बनाने के साथ ही इस क्षेत्र को और उन्नत तथा डिजिटाइज करने में मदद हासिल हो ।

उन्होंने कहा कि इस क्षेत्र में इस समय करीब एक करोड़ लोग कार्य कर रहे हैं।विक्रम सिंह ने कहा कि कापसी  ने केंद्र सरकार को एक पत्र लिखा है. जिसमें यह मांग की गई है कि प्राइवेट सिक्योरिटी एजेंसी रेगुलेशन एक्ट 2005 को संशोधित किया जाए. इसकी वजह यह है कि प्राइवेट सिक्योरिटी क्षेत्र में लगातार परिवर्तन देखने को मिल रहे हैं।  हमारी एफडीआई में निवेश सीमा को बढ़ाने की मांग भी इस क्षेत्र के परिदृश्य में लगातार होते बदलाव का ही परिणाम है।

उन्होंने कहा कि हम सरकार से इस क्षेत्र के लिए एक नियामक बोर्ड या रेगुलेशन बोर्ड बनाने की भी मांग कर रहे हैं। जिसमें इस क्षेत्र के लोग भी प्रतिनिधि के तौर पर शामिल हो। यह रेगुलेशन बोर्ड केंद्र और राज्यों में बनाने की जरूरत है। जिससे इस क्षेत्र से जुड़े मसलों को तेजी से सुलझाने में मदद हासिल हो पाए. उन्होंने कहा कि मॉडल रूल 2020 का हम स्वागत करते हैं । इसकी वजह यह है कि यह इस क्षेत्र में इज ऑफ डूइंग बिजनेस या कारोबार को सुलभ बनाने की पैरवी करता है। कुंवर विक्रम सिंह ने कहा कि सरकार ने हालांकि मॉडल रूल 2020 बना दिए हैं। लेकिन इस समय भी कई ऐसे राज्य हैं. जिन्होंने इस नियम को लागू नहीं किया है. यही वजह है कि पीएसएआर एक्ट में तात्कालिक आधार पर संशोधन करते हुए पारदर्शिता लाने और इस क्षेत्र को पूरी तरह से डिजिटाइज करने की जरूरत है।

कुंवर विक्रम सिंह ने कहा कि प्राइवेट सिक्योरिटी डे के अवसर पर समस्त देश में निजी सुरक्षा एजेंसियों के कर्मियों के द्वारा विभिन्न कार्यक्रम आयोजित किए जा रहे हैं. जहां पर विशेष सेवाओं के लिए निजी सुरक्षा एजेंसियों के कर्मियों को सम्मानित भी किया जाएगा।

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