विधानसभा चुनाव से पहले अच्छी हालत में होंगी आपके क्षेत्र की सड़कें
नई दिल्ली। आगामी विधानसभा चुनाव से पहले आपके मोहल्ले की सड़कें व गलियां दुरुस्त हो जाएंगी मुख्यमंत्री सड़क पुनर्निर्माण योजना के तहत इन सड़कों और गलियों के पुनर्निर्माण के लिए दिल्ली सरकार ने विधायकों की ओर से आए प्रस्तावों के लिए 193 करोड़ रुपये जारी कर दिए हैं। वर्तमान वित्त वर्ष के करीब साढ़े तीन महीने में अब तक विधायकों की ओर से 768 कार्यों के प्रस्ताव सरकार के पास आ चुके हैं। इन पर 314 करोड़ रुपये खर्च आने का अनुमान है। वित्त वर्ष 2019-20 में मुख्यमंत्रीसड़क पुनर्निर्माण योजना के तहत मोहल्ले की सड़कों और गलियों को ठीक करने के लिए इस बार बजट में 800 करोड़ रुपये का प्रावधान रखा गया है। शहरी विकास विभाग ने कुछ महीने पहले तीनों नगर निगमों व अन्य निकायों की सड़कों और गलियों को सुधारने के लिए मुख्यमंत्री सड़क पुनर्निर्माण योजना के तहत फंड जारी करने का निर्णय लिया था। इसकी मदद से स्थानीय निकायों की सड़कों और गलियों के मरम्मत का काम पूरा किया जाएगा।
इस योजना में इस तरह की व्यवस्था है कि काम स्थानीय विधायकों की सिफारिश पर ही होगा। इस दौरान देखा गया है कि कई पार्षदों ने विधायकों के माध्यम की बजाय शहरी विकास विभाग को इस काम के लिए सीधे प्रस्ताव भेज दिया है, जिन्हें विभाग ने खारिज कर दिया है। विभाग का कहना है कि प्रस्ताव स्थानीय विधायकों के मार्फत ही आएगा। दिल्ली में 60 फीट से कम चौड़ी सड़कें स्थानीय निकायों के पास हैं। मगर नगर निगमों की माली हालत इस कदर खस्ता है कि वे अपने अधीन आने वाली सड़कों और गलियों के मरम्मत का काम भी नहीं करा पा रहे। ऐसे में कॉलोनियों की सड़कों और गलियों का कायाकल्प स्थानीय विधायकों की सिफारिश पर शहरी विकास विभाग द्वारा जारी फंड से किया जा रहा है।
मुख्यमंत्री सड़क पुनर्निर्माण योजना के तहत एक कार्य के लिए अधिकतम 2 करोड़ रुपये जारी करने का प्रावधान किया गया है। धनरा. शि 2 किस्तों में जारी होगी। लेकिन अधिकतम कार्यों की सीमा को खुला रखा गया है। मुख्यमंत्री केजरीवाल व उनके चार मंत्रियों ने इस योजना के तहत अपने इलाके में काम कराने का प्रस्ताव शहरी विकास विभाग को भेजा है। इसमें सत्येंद्र जैन, गोपाल राय, कैलाश गहलोत व राजेंद्र पाल गौतम शामिल हैं। अब तक करीब 70 फीसद विधायकों ने इस योजना में दिलचस्पी दिखाई है
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